सूचना- ओपनिंग बैच हेतु आवेदन फॉर्म भरने की तिथि 19.11.2025 से 03.12.2025 होगी।
आपके चयनित होने की सूचना 05.12.2025 को दे दी जायेगी ओपनिंग बैच 16.12.2025 से 25.12.2025 तक के लिए निर्धारित है।
बोधकथा शोध संस्थान में शोधकार्य हेतु प्रवेश की अर्हता
नेट/जेआरएफ उत्तीर्ण/ किसी भी मान्य विश्वविद्यालय में किसी भी विषय में शोधार्थी/शोध उपाधि / विद्यार्थियों से… बोधकथा श्रृंखला पर डिजर्टेशन/एम फ़िल/ शोध उपाधि (बोधकथा में शोध की प्रामाणिक रूचि वाले शोधार्थियों को वरीयता दी जायेगी)
शोध कार्य की अवधि
बोधकथा केन्द्रित किसी भी विषय में पूर्ण कालिक शोधकर्ता को तीन वर्ष में अधिकतम 90 दिन अर्थात 10 दिन 9 बार बोधकथा शोध संस्थान में रहकर शोधकार्य करने का अवसर एवं बोधकथा में शोध की प्रामाणिक रुचि सम्पन्न शोधकर्ता को एक बैच (10 दिन) के अलावा उनके परफॉर्मेंस के अनुरूप अवसर
शर्ते/नियमावली
- बोधकथा शोध संस्थान व्यक्तिगत विनम्र प्रयास है। अतः यहाँ आने से पूर्व यह सुनिश्चित कर लें कि आप यहाँ किसी प्रकार की ऐसी स्थिति उत्पन्न नहीं करेंगे जिससे इस संस्थान की मूल भावना आहत हो।
- मानव शरीर दुर्लभ है। सौभाग्य से आप मनुष्य हुए हैं। अतः इसका सार्थक उपयोग अर्थात् ऐसा कार्य जो इस घरा को और अधिक सुंदर एवं सुव्यवस्थित बना सके आपके जीवन का लक्ष्य होना चाहिए।
- यह संस्थान पूर्णरूपेण सात्विक एवं आध्यात्मिक स्थल है। अतः इसके गरिमानुरूप इसे आश्रम व्यवस्था मानकर स्वयं को एक साधक तथा इस अवधि को साधनाकाल समझेंगे।
- सादा जीवन उच्च विचार की भावना के साथ अपने व्यक्तिगत सभी कार्य स्वयं सम्पादित करेंगे और अपनी दिनचर्या में कठोर अनुशासन का पालन करते हुए प्रतिदिन संध्या वंदन में भाग लेंगे।
- मानव निर्माण की इस विलुप्त विधा बोधकथा परंपरा के पुनर्जागरण यज्ञ में आपकी यह एक सार्थक आहुति हम सभी के लिए उत्सव स्वरूप है।
- यहाँ रहते हुए आठ दिनों में कुल आठ हज़ार शब्दों का एक शोध आलेख तैयार करेंगे जिसे 9वें दिन आधिकारिक विद्वानों की उपस्थिति में आधे घंटे समय सीमा में प्रस्तुत करना अनिवार्य होगा।
- आपको अपने इस शोध आलेख की सॉफ्ट कॉपी जमा करना अनिवार्य होगा संस्थान जिसका ई-प्रकाशन करेगा ताकि आगे आने वाले शोधार्थियों के काम आ सके।
- आपके इस विशिष्ट कार्य के लिए संस्थान की ओर से आपको प्रमाण-पत्र प्रदान किया जाएगा।
- शोध अवधि के दसवें दिन संस्थान की ओर से आपको पावा नगर, कुशीनगर, मगहर, गीता प्रेस, गोरक्षनाथ मंदिर, रामगढ़ ताल, सोमनाथ एवं विद्यार्थियों से उद्गम स्थल देवरिया की शैक्षणिक एवं सांस्कृतिक यात्रा करायी जायेगी।
- शोध से संबंधित आवश्यक पुस्तकों की आवश्यकता होने पर पुस्तक का नाम, लेखक एवं प्रकाशक का नाम शोध हेतु संस्थान में आने से कम से कम पंद्रह दिन पहले अवगत कराना होगा ताकि समय रहते संस्थान आपके लिए पुस्तकें मंगा सकें ।
- शोध की अवधि (दस दिनों) तक आपको अनिवार्यतः संस्थान में रहकर अपना शोध कार्य पूरा करना होगा। किसी भी परस्थिति में संस्थान परिसर से बाहर जाने की अनुमति नहीं होगी।
- संस्थान परिसर में किसी ऐसे पदार्थ का सेवन पूर्णतः वर्जित है जो आपके मन-मस्तिष्क और शरीर को हानि पहुँचा सकता हो तथा यहाँ के वातावरण को दुष्प्रभावित कर सकता हो।
- आप द्वारा किए गये किसी भी प्रकार के अछम्य/अशोभनीय व्यवहार के लिए आपको देन एंड देयर संस्थान परिसर से बाहर किया जा सकता है।
- किसी भी प्रकरण में सर्वाधिकार एवं अन्तिम निर्णय संस्थान का होगा।
संस्थान में प्रवास के दौरान की समय-सारिणी
- चाय बिस्किट: प्रात: 7-7.30 बजे के बीच
- स्वाध्याय: प्रात: 7.30 से 10 बजे तक
- अल्पाहार: प्रात: 10-10.30 बजे के बीच
- स्वाध्याय : प्रातः 10.30-2 बजे तक
- दोपहर का भोजन : अपराह्न 2 से 3 बजे के बीच
- स्वाधयाय: अपराह्न 3 से 5 बजे तक
- शाम की चाय : अपराह्न 5-5.30 बजे के बीच
- शोधार्थियों का परस्पर संवाद : सायं 5.30-7.30
- संध्या वंदन: रात्रि 7.45-8.00 बजे
- स्वरूचि का कार्य : रात्रि 8-9 बजे तक
- रात्रि का भोजन : रात्रि 9-9.30 बजे।
- रात्रि विश्राम : रात्रि साढे नौ के बाद।
साथ लाना आवश्यक है
- पेन कापी लैपटॉप
- नित प्रयोग सामग्री
आवेदन पत्र
लोकेशन
एन.एच.28, शिवलोक, तालकंदला, खोराबार, गोरखपुर उ. प्र.
एयरपोर्ट से 10 किमी
रेलवे स्टेशन से 12 किमी
फोटो साइट
फीडबैक के आधार पर सकारात्मक परिवर्तन संभव